Singers: Mohd. Rafi and Suman Kalyanpur
ठहरिए होश में आ लूँ, तो चले जाइएगा
उह हुँह
आपको दिल में बिठा लूँ, तो चले जाइएगा
उह हुँह
आपको दिल में बिठा लूँ
कब तलक रहिएगा यूँ दूर की चाहत बनके
दिल में आ जाइए इक़रार-ए-मुहब्बत बनके
अपनी तक़दीर बना लूँ, तो चले जाइएगा
उह हुँह
आपको दिल में बिठा लूँ, तो चले जाइएगा
आपको दिल में बिठा लूँ
मुझको इक़रार-ए-मुहब्बत पे हया आती है
बात कहते हुए गरदन मेरी झुक जाती है
देखिये सर को झुका लूँ, तो चले जाइएगा
उह हुँह
हाय, आपको दिल में बिठा लूँ
ऐसी क्या शर्म ज़रा पास तो आने दीजे
रुख से बिखरी हुई ज़ुल्फ़ें तो हटाने दीजे
प्यास आँखों की बुझा लूँ, तो चले जाइएगा
ठहरिए होश में आ लूँ, तो चले जाइएगा
आपको दिल में बिठा लूँ, तो चले जाइएगा
आपको दिल में बिठा लूँ
Hindi Songs
Friday, June 3, 2011
मुझको अपने गले लगा लो, ऐ मेरे हमराही
Singers: Mohd. Rafi and Mubarak Begum
मुझको अपने गले लगा लो, ऐ मेरे हमराही
तुमको क्या बतलाऊं मैं, के तुमसे कितना प्यार है
जब तुम मुझसे दूर रहते हो, जिया मेरा घबराता है
नींद आँखों से उड़ जाती है, चाँद अगन बरसाता है
दोनों पहलू जल जाते हैं, आग में आग लगाता है
जैसे तड़पे बिन जल मछली
प्यार मुझे तड़पाता है, प्यार मुझे तड़पाता है
इस उलझन से मुझको बचालो, ऐ मेरे हमराही
तुमको क्या बतलाऊं मैं, के तुमसे कितना प्यार है
जिन राहों पर हँसके चलो तुम, फूल वहाँ खिल जाते हैं
दम लेने को जहाँ रुको तुम, मधुशाले बन जाते हैं
तुमको छूकर पवन झकोरे, ख़ुशबू लेकर जाते हैं
लेकिन हम तो देख के सूरत
दिल थामे रह जाते हैं, दिल थामे रह जाते हैं
दिल से दिल के तार मिला लो, ऐ मेरे हमराही
तुमको क्या बतलाऊं मैं, के तुमसे कितना प्यार है
जब तक तुमको मैं ना देखूँ, चैन मुझे कब आता है
खोज में तेरी मन का पंछी, दूर कहीँ खो जाता है
जब तुम मुझको मिल जाती हो, दर्द दवा बन जाता है
वरना तुम बिन सारा जीवन
सूना बन कहलाता है, सूना बन कहलाता है
हर मंज़िल पर मुझको सम्भालो, ऐ मेरे हमराही
तुमको क्या बतलाऊं मैं, के तुमसे कितना प्यार है
मुझको अपने गले लगा लो, ऐ मेरे हमराही
तुमको क्या बतलाऊं मैं, के तुमसे कितना प्यार है
जब तुम मुझसे दूर रहते हो, जिया मेरा घबराता है
नींद आँखों से उड़ जाती है, चाँद अगन बरसाता है
दोनों पहलू जल जाते हैं, आग में आग लगाता है
जैसे तड़पे बिन जल मछली
प्यार मुझे तड़पाता है, प्यार मुझे तड़पाता है
इस उलझन से मुझको बचालो, ऐ मेरे हमराही
तुमको क्या बतलाऊं मैं, के तुमसे कितना प्यार है
जिन राहों पर हँसके चलो तुम, फूल वहाँ खिल जाते हैं
दम लेने को जहाँ रुको तुम, मधुशाले बन जाते हैं
तुमको छूकर पवन झकोरे, ख़ुशबू लेकर जाते हैं
लेकिन हम तो देख के सूरत
दिल थामे रह जाते हैं, दिल थामे रह जाते हैं
दिल से दिल के तार मिला लो, ऐ मेरे हमराही
तुमको क्या बतलाऊं मैं, के तुमसे कितना प्यार है
जब तक तुमको मैं ना देखूँ, चैन मुझे कब आता है
खोज में तेरी मन का पंछी, दूर कहीँ खो जाता है
जब तुम मुझको मिल जाती हो, दर्द दवा बन जाता है
वरना तुम बिन सारा जीवन
सूना बन कहलाता है, सूना बन कहलाता है
हर मंज़िल पर मुझको सम्भालो, ऐ मेरे हमराही
तुमको क्या बतलाऊं मैं, के तुमसे कितना प्यार है
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Tuesday, March 8, 2011
वो चुप रहें तो मेरे दिल के दाग़ जलते हैं
Singer: Lata Mangeshkar
वो चुप रहें तो मेरे दिल के दाग़ जलते हैं
जो बात कर लें तो बुझते चिराग़ जलते हैं
कहो बुझें के जलें
हम अपनी राह चलें या तुम्हारी राह चलें
कहो बुझें के जलें
बुझें तो ऐसे के जैसे किसी ग़रीब का दिल
किसी ग़रीब का दिल
जलें तो ऐसे के जैसे चिराग़ जलते हैं
यह खोई खोई नज़र
कभी तो होगी इधर या सदा रहेगी उधर
यह खोई खोई नज़र
उधर तो एक सुलग़ता हुआ है वीराना
है एक वीराना
मगर इधर तो बहारों में बाग़ जलते हैं
जो अश्क़ पी भी लिए
जो होंठ सी भी लिए, तो सितम ये किस पे किए
जो अश्क़ पी भी लिए
कुछ आज अपनी सुनाओ कुछ आज मेरी सुनो
ख़ामोशियों से तो दिल और दिमाग़ जलते हैं
वो चुप रहें तो मेरे दिल के दाग़ जलते हैं
जो बात कर लें तो बुझते चिराग़ जलते हैं
कहो बुझें के जलें
हम अपनी राह चलें या तुम्हारी राह चलें
कहो बुझें के जलें
बुझें तो ऐसे के जैसे किसी ग़रीब का दिल
किसी ग़रीब का दिल
जलें तो ऐसे के जैसे चिराग़ जलते हैं
यह खोई खोई नज़र
कभी तो होगी इधर या सदा रहेगी उधर
यह खोई खोई नज़र
उधर तो एक सुलग़ता हुआ है वीराना
है एक वीराना
मगर इधर तो बहारों में बाग़ जलते हैं
जो अश्क़ पी भी लिए
जो होंठ सी भी लिए, तो सितम ये किस पे किए
जो अश्क़ पी भी लिए
कुछ आज अपनी सुनाओ कुछ आज मेरी सुनो
ख़ामोशियों से तो दिल और दिमाग़ जलते हैं
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वो हम न थे वो तुम न थे
Singer: Mohd. Rafi
वो हम न थे वो तुम न थे, वो रहगुज़र थी प्यार की
लुटी जहाँ पे बेवजह, पालकी बहार की
ये खेल था नसीब का, न हँस सके न रो सके
न तूर पर पहुँच सके, न दार पर ही सो सके
कहानी किससे ये कहें, चढ़ाव की उतार की
तुम्हीं थे मेरे रहनुमा, तुम्हीं थे मेरे हमसफ़र
तुम्हीं थे मेरी रोशनी, तुम्हीं ने मुझको दी नज़र, दी नज़र
बिना तुम्हारे ज़िन्दगी, शमा है इक मज़ार की
ये कौन सा मुक़ाम है, फ़लक नहीं, ज़मीं नहीं
के शब नहीं, सहर नहीं, के ग़म नहीं, ख़ुशी नहीं
कहाँ ये लेके आ गई, हवा तेरे दयार की
गुज़र रही है तुम पे क्या, बनाके हमको दर-ब-दर
ये सोच कर उदास हूँ, ये सोच कर है चश्म तर, चश्म तर
न चोट है ये फूल की, न है ख़लिश ये ख़ार की
वो हम न थे वो तुम न थे, वो रहगुज़र थी प्यार की
लुटी जहाँ पे बेवजह, पालकी बहार की
ये खेल था नसीब का, न हँस सके न रो सके
न तूर पर पहुँच सके, न दार पर ही सो सके
कहानी किससे ये कहें, चढ़ाव की उतार की
तुम्हीं थे मेरे रहनुमा, तुम्हीं थे मेरे हमसफ़र
तुम्हीं थे मेरी रोशनी, तुम्हीं ने मुझको दी नज़र, दी नज़र
बिना तुम्हारे ज़िन्दगी, शमा है इक मज़ार की
ये कौन सा मुक़ाम है, फ़लक नहीं, ज़मीं नहीं
के शब नहीं, सहर नहीं, के ग़म नहीं, ख़ुशी नहीं
कहाँ ये लेके आ गई, हवा तेरे दयार की
गुज़र रही है तुम पे क्या, बनाके हमको दर-ब-दर
ये सोच कर उदास हूँ, ये सोच कर है चश्म तर, चश्म तर
न चोट है ये फूल की, न है ख़लिश ये ख़ार की
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आँखों से जो उतरी है दिल में
Singer: Asha Bhosle
आँखों से जो उतरी है दिल में
तसवीर है इक अनजाने की
खुद ढूँढ रही है शमा जिसे
क्या बात है उस परवाने की
वो उसके लबों पर शोख हँसी
रँगीन शरारत आँखों में
साँसों में मोहब्बत की ख़ुशबू
वो प्यार की धड़कन बातों में
दुनिया मेरी बदल गयी
बनके घटा निकल गयी
तौबा वो नज़र मस्ताने की
खुद ढूँढ रही है शमा जिसे
क्या बात है उस परवाने की
अंदाज़ वो उसके आने का
चुपके से बहार आये जैसे
कहने को घड़ी भर साथ रहा
पर उमर गुज़ार आये जैसे
उनके बिना रहूँगी नहीं
क़िस्मत से अब जो कहीं
मिल जाये खबर दीवाने की
खुद ढूँढ रही है शमा जिसे
क्या बात है उस परवाने की
आँखों से जो उतरी है दिल में
तसवीर है इक अनजाने की
खुद ढूँढ रही है शमा जिसे
क्या बात है उस परवाने की
वो उसके लबों पर शोख हँसी
रँगीन शरारत आँखों में
साँसों में मोहब्बत की ख़ुशबू
वो प्यार की धड़कन बातों में
दुनिया मेरी बदल गयी
बनके घटा निकल गयी
तौबा वो नज़र मस्ताने की
खुद ढूँढ रही है शमा जिसे
क्या बात है उस परवाने की
अंदाज़ वो उसके आने का
चुपके से बहार आये जैसे
कहने को घड़ी भर साथ रहा
पर उमर गुज़ार आये जैसे
उनके बिना रहूँगी नहीं
क़िस्मत से अब जो कहीं
मिल जाये खबर दीवाने की
खुद ढूँढ रही है शमा जिसे
क्या बात है उस परवाने की
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आँचल में सजा लेना कलियाँ
Singer: Mohd. Rafi
आँचल में सजा लेना कलियाँ, ज़ुल्फ़ों में सितारे भर लेना
ऐसे ही कभी जब शाम ढले, तब याद हमें भी कर लेना
आया था यहाँ बेगाना सा, आया था यहाँ बेगाना सा
चल दूंगा कहीं दीवाना सा, चल दूंगा कहीं दीवाना सा
दीवाने की खातिर तुम कोई, इलज़ाम ना अपने सर लेना
ऐसे ही कभी जब शाम ढले, तब याद हमें भी कर लेना
रस्ता जो मिले अंजान कोई, रस्ता जो मिले अंजान कोई
आ जाए अगर तूफ़ान कोई, आ जाए अगर तूफ़ान कोई
अपने को अकेला जान के तुम, आँखों में ना आंसू भर लेना
ऐसे ही कभी जब शाम ढले, तब याद हमें भी कर लेना
आँचल में सजा लेना कलियाँ, ज़ुल्फ़ों में सितारे भर लेना
ऐसे ही कभी जब शाम ढले, तब याद हमें भी कर लेना
आया था यहाँ बेगाना सा, आया था यहाँ बेगाना सा
चल दूंगा कहीं दीवाना सा, चल दूंगा कहीं दीवाना सा
दीवाने की खातिर तुम कोई, इलज़ाम ना अपने सर लेना
ऐसे ही कभी जब शाम ढले, तब याद हमें भी कर लेना
रस्ता जो मिले अंजान कोई, रस्ता जो मिले अंजान कोई
आ जाए अगर तूफ़ान कोई, आ जाए अगर तूफ़ान कोई
अपने को अकेला जान के तुम, आँखों में ना आंसू भर लेना
ऐसे ही कभी जब शाम ढले, तब याद हमें भी कर लेना
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आज ये मेरी ज़िंदगी देखो ख़ुशी में झूमती
Singer: Asha Bhosle
आज ये मेरी ज़िंदगी देखो ख़ुशी में झूमती
जाने चली कहाँ, जाने चली कहाँ
तनहा नहीं चली हूँ मैं दिल भी है मेरा हमसफ़र
गुज़री तो हूँ इधर से मैं फिर भी नई है रहगुज़र
ज़र्रों में भी है रोशनी लेके तू मुझको आ गयी
ऐ ज़िंदगी कहाँ, ऐ ज़िंदगी कहाँ
मुझको बुला रहा है क्यों देखो वो कोई दूर से
बढ़ने लगे मेरे क़दम जिसकी तरफ़ ग़ुरूर से
दिल में भी है सुरूर सा, आँखों में भी है नूर सा
शमा जली कहाँ , शमा जली कहाँ
राहों में मेरी फूल हैं तारे मेरी निगाह में
अब ना मुझे पुकाराना, डूब चली हूँ चाह में
अपना नहीं है कुछ पता, ऐ मेरी बेख़ुदी बता
तू ले चली कहाँ, तू ले चली कहाँ
आज ये मेरी ज़िंदगी देखो ख़ुशी में झूमती
जाने चली कहाँ, जाने चली कहाँ
तनहा नहीं चली हूँ मैं दिल भी है मेरा हमसफ़र
गुज़री तो हूँ इधर से मैं फिर भी नई है रहगुज़र
ज़र्रों में भी है रोशनी लेके तू मुझको आ गयी
ऐ ज़िंदगी कहाँ, ऐ ज़िंदगी कहाँ
मुझको बुला रहा है क्यों देखो वो कोई दूर से
बढ़ने लगे मेरे क़दम जिसकी तरफ़ ग़ुरूर से
दिल में भी है सुरूर सा, आँखों में भी है नूर सा
शमा जली कहाँ , शमा जली कहाँ
राहों में मेरी फूल हैं तारे मेरी निगाह में
अब ना मुझे पुकाराना, डूब चली हूँ चाह में
अपना नहीं है कुछ पता, ऐ मेरी बेख़ुदी बता
तू ले चली कहाँ, तू ले चली कहाँ
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